याद - भुलाया = झगड़ा , परिवार में माता ने अपने पुत्र से कहा की कल स्कूल से आते हुए बाजार से सब्जी का मसाला लेकर आना .इस प्रकार दूसरे दिन पुत्र भूल आया जो काम माता ने बताया था ,फिर माता का पारा सातवें आसमान पर था और झगड़ा माता पिता के बीच पहुँच गया, माता कहने लगी हमारा बेटा आज कल मेरा कहा मानता ही नही ,हमेशा काम बताती और काम करता ही नही .बेटा पिता के सामने माता से बोला - माता आप ने मुझे कहा ही नही आप पिताजी से युही मुझे डाट दिला रही हो .दोनों की बात सुन कर पिता बोला आप दोनों अपनी जगह सही हो जिसके पीछे मनोविज्ञान यह कहता है की माता ने जो काम बताया उस काम के लिए जो धारणा या याद करने की क्षमता कमजोर होने के कारण पुत्र ने गलती की जिसका मूल कारण अपने चित का लोप होना . यानि उस का ध्यान और कई दूसरे स्थान लगा हुआ था .माता को जो आवश्यकता थी उसका याद ताज़ा थी परन्तु पुत्र का दिमाग जैसे फेस बुक में अटका-लटका हुआ था जिस कारण माता दिया हुआ कार्य भूल गया.इस प्रकार चित की अवस्था चेतन है या अवचेतन उसी पर निर्भर करेगा की कही हुई बात याद रहेगी अथवा नही ...
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